अशोक लीलैंड कंपनी प्रोफाइल, फाउंडर, मालिक, चेयरमैन, नेटवर्थ, प्रोडक्ट & सर्विसेज, विकी और अधिक (Ashok Leyland company details in hindi)
अशोक लीलैंड एक भारतीय मल्टीनेशनल ऑटोमोटिव निर्माता है। इसकी स्थापना 1948 में अशोक मोटर्स के रूप में हुई थी। वर्तमान में इसका स्वामित्व हिंदुजा ग्रुप के पास है।
बायो/विकी (Bio/Wiki)
नाम:- | अशोक लीलैंड (Ashok Leyland) |
लीगल नाम:- | अशोक लीलैंड लिमिटेड |
प्रकार (Type):- | पब्लिक |
इंडस्ट्री:- | ऑटोमोटिव |
प्रोफाइल (Profile)
स्थापना की तारीख:- | सितम्बर 1948 |
फाउंडर:- | रघुनंदन सरण |
मुख्य लोग:- | धीरज G हिंदुजा (एक्जीक्यूटिव चेयरमैन) शेनु अग्रवाल (MD & CEO) |
मुख्यालय:- | चेन्नई, तमिलनाडु |
स्टॉक एक्सचेंज:- | BSE: 500477 NSE: ASHOKLEY |
राजस्व (Revenue):- | ₹41,783 करोड़ (वित्त वर्ष 2023) |
कुल संपत्ति (Total Asset):- | ₹54,728 करोड़ (वित्त वर्ष 2023) |
नेटवर्थ:- | ₹10,799 करोड़ (वित्त वर्ष 2023) |
मालिक:- | हिंदुजा ग्रुप |
वेबसाइट:- | www.ashokleyland.com |
कंपनी के बारे में (About Company)
अशोक लीलैंड की शुरुआत 7 सितंबर 1948 में पंजाब के भारतीय स्वतंत्रता सेनानी रघुनंदन सरन ने अशोक मोटर्स के रूप में की थी और कंपनी का नाम उनके इकलौते बेटे अशोक सरन के नाम पर रखा गया था। सितंबर 1949 में ऑस्टिन मोटर्स लिमिटेड और ऑस्टिन मोटर्स एक्सपोर्ट कॉर्पोरेशन लिमिटेड, U.K. की मदद से एन्नोर में उत्पादन शुरू हुआ था।
1950 में कंपनी ने लीलैंड मोटर्स लिमिटेड, UK के साथ एक एग्रीमेंट किया जिसमें अशोक मोटर्स को सात वर्षों के लिए लीलैंड ट्रकों के इंपोर्ट, असेंबल, और क्रमिक निर्माण (progressively manufacture) के सोलो राइट्स मिला था। 1955 में कंपनी का नाम अशोक मोटर्स लिमिटेड से बदलकर अशोक लीलैंड लिमिटेड कर दिया था।
हिंदुजा ग्रुप ने 2007 में अशोक लीलैंड में इवेको की अप्रत्यक्ष हिस्सेदारी खरीदी थी। आज हिंदुजा ग्रुप के पास अशोक लीलैंड की प्रमोटर हिस्सेदारी का 51% हिस्सा है। अशोक लीलैंड लिमिटेड वर्तमान में वाणिज्यिक वाहनों के निर्माण और बिक्री में लगी हुई है।
अशोक लीलैंड दुनिया की चौथी सबसे बड़ी बस निर्माता और भारत में दूसरी सबसे बड़ी वाणिज्यिक वाहन निर्माता है। वैश्विक स्तर पर इसके नौ विनिर्माण संयंत्र हैं, जिनमें ग्रेट ब्रिटेन और रास अल खैमा (UAE) में एक-एक संयंत्र शामिल है।
प्रोडक्ट/सर्विस (Product/Service)
इसके उत्पादों में बसें, ट्रक, इंजन, डिफेंस और स्पेशल व्हीकल शामिल हैं। 18 सीटर से लेकर 82 सीटर डबल-डेकर बसें, 7.5 टन से लेकर 49 टन तक के ढुलाई वाहन, कई विशेष अनुप्रयोग वाहनों से लेकर औद्योगिक, समुद्री और जेनसेट अनुप्रयोगों के लिए डीजल इंजन तक अशोक लीलैंड उत्पादों की एक रेंज पेश करता है।
संस्थापक (Founder)
अशोक लीलैंड के फाउंडर रघुनंदन सरण है।
रघुनंदन सरण (Raghunandan Saran)
अशोक लीलैंड की स्थापना 7 सितंबर 1948 में पंजाब के भारतीय स्वतंत्रता सेनानी रघुनंदन सरन ने अशोक मोटर्स के रूप में की थी। वह सेंट स्टीफ़न कॉलेज से शिक्षा प्राप्त करने के बाद कैंब्रिज चले गए थे। भारत लौटने पर वह स्वतंत्रता आंदोलन की चपेट में आ गये। चूंकि इसमें भाग लेना उनके परिवार के व्यावसायिक हितों के विपरीत था, इसलिए उन्होंने खुद को पारिवारिक व्यवसाय से अलग कर लिया था। और एक स्कूल शिक्षक के रूप में नौकरी की और स्वतंत्रता आंदोलन में सक्रिय हो गए थे। वह कुछ समय के लिए दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के कोषाध्यक्ष रहे और फिर अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी द्वारा नियुक्त INA जांच राहत समिति के संयोजक रहे थे।
भारत को स्वतंत्रता मिलने के बाद उनके मित्र जवाहरलाल नेहरू ने उन्हें समझाया कि वह राजनीति में आने और कांग्रेस सरकार में शामिल होने के बजाय उद्योग विकसित करे, जिसमें भारत का भविष्य निहित है तथा वह राष्ट्र-निर्माण के लिए और अधिक काम करने में सक्षम होंगे। इसके बाद उन्होंने स्वदेशी ऑटोमोबाइल उद्योग विकसित करने में मदद करने का फैसला किया था।
वह ऑस्टिन मोटर्स लिमिटेड से परिचित थे, इसलिए उन्होंने अपने परिवार के संपर्क के कारण भारत में ऑस्टिन कारों की असेंबली और निर्माण के लिए इसके साथ बातचीत करने का फैसला किया और सफल रहा था। उन्होंने 1948 में अशोक मोटर्स लिमिटेड की स्थापना की थी। बाद में कंपनी का नाम बदलकर अशोक लीलैंड कर दिया था।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQ)
ANS: अशोक लीलैंड एक भारतीय मल्टीनेशनल ऑटोमोटिव निर्माता है। कंपनी उत्पादों में बसें, ट्रक, इंजन, डिफेंस और स्पेशल व्हीकल शामिल हैं।
ANS: अशोक लेलैंड कंपनी का वर्तमान मालिक हिंदुजा ग्रुप है।